टांडा मेडिकल कालेज में पानी के सैंपल फेल, बीमारियां फैलने का बढ़ा खतरा

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काँगड़ा – राजीव जस्वाल                                                                       

डाक्टर राजेंद्र प्रसाद राजकीय आयुर्विज्ञान चिकित्सा महाविद्यालय टांडा अस्पताल में मटमैला व दूषित पानी आ रहा है, जिसके चलते इस गंदे पानी के सैंपल माइक्रोबायोलॉजी विभाग में टेस्ट के लिए भी भेजे गए थे, जिसे सोमवार को माइक्रोबायोलॉजी विभाग ने टेस्ट करने के बाद पानी के सैंपल को फेल कर दिया है और रिपोर्ट में कहा की पानी पीने योग्य नहीं है और इस पानी को पीने से विभिन्न प्रकार की बीमारियां फैल सकती हैं।

बता दें की टांडा अस्पताल में पिछले दिनों पानी सप्लाई की मशीनों में सिल्ट आ गई थी और तीन दिन पानी की सप्लाई बाधित रही थी। टांडा अस्पताल को पानी की सप्लाई देने वाली दो मशीनें खराब हो गई थीं, उसके बाद ऊना से नई मशीन को मंगवा कर पानी की सप्लाई को शुरू चलाया गया था, जिसके कारण टांडा अस्पताल में पिछले सप्ताह मेजर आपरेशन भी नहीं हो सके थे और दूरदराज से आए मरीजों को भारी परेशानियों को झेलने को मजबूर होना पड़ा था।

जाहिर सी बात है की टांडा अस्पताल प्रदेश का दूसरा बड़ा अस्पताल है और यहां प्रदेश के छह जिलों चंबा, मंडी, ऊना, हमीरपुर कुल्लू और सबसे बड़े जिला कांगड़ा से मरीज उपचार के लिए पहुंचते हैं और इन मरीजों के आपरेशन पानी की सुचारू सप्लाई न आने की वजह से टालने पड़े थे। साथ ही मरीजों को पीने का पानी भी बाहर से लाना पड़ा था।

एडमिट मरीजों को शौचालयों जाने में भी भारी परेशानियां झेलनी पड़ी थी, लेकिन अब इतने दिनों के बाद पानी की सप्लाई को तो सुचारू कर दिया गया है, परंतु अब पानी गंदा दूषित आ रहा है, जो कि बिलकुल भी पीने योग्य ही नहीं है। इस दूषित पानी के सैंपल को माइक्रोबायोलॉजी विभाग में टेस्ट के लिए भी भेज दिया गया है।

दूषित पानी के सैंपल की रिपोर्ट तथा विषेशज्ञ डाक्टरों के अनुसार पानी बहुत ज्यादा दूषित है और पीने के बिलकुल योग्य नहीं है। इस पानी के सेवन से विभिन्न प्रकार की बीमारियां जैसे पीलिया इत्यादि होने का खतरा बहुत ज्यादा है। विदित है कि अस्पताल में पहले ही मरीज उपचार के लिए एडमिट रहते हैं। ऐसे में दूषित पानी से ओर गंभीर बीमारी फैलने का भी डर है।

इसके साथ टांडा अस्पताल परिसर की रेजिडेंशियल कालोनियों व होस्टलों में हजारों की संख्या में स्टूडेंट्स, प्रशिक्षु डाक्टर, सीनियर डाक्टर, नर्सेज व अन्य कर्मचारी रहते हैं । इस दूषित पानी की वजह से यहां भी विभिन्न बीमारियों के फैलने का असमंजस है। ज्यादातर मरीज व लोग बाहर से पानी लाने को मजबूर हो रहे हैं।

प्राचार्य डा. मिलाप शर्मा के बोल

डाक्टर राजेंद्र प्रसाद राजकीय आयुर्विज्ञान चिकित्सा महाविद्यालय टांडा अस्पताल में पानी के सैंपल फेल होने पर टीएमसी के प्राचार्य डा. मिलाप शर्मा का कहना है कि टांडा में जो पानी की सप्लाई आ रही है, वह स्वच्छ नहीं है। हमने पानी के सैंपल भेजे थे और रिपोर्ट में पानी के सैंपल फेल आए हैं।

एक्सईएन के बोल

जलशक्ति विभाग के एक्सईएन विवेक ठाकुर ने बताया कि टांडा अस्पताल में पानी की सप्लाई बिलकुल साफ आ रही है। पानी को फिल्टर करने के बाद ही सप्लाई किया जा रहा है।

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