चम्बा- भूषण गुरुंग
विश्वप्रसिद्ध मणिमहेश के राधाष्टमी के शाही स्नान के लिए पवित्र दशनाम छड़ी मंगलवार शाम मुख्यालय से रवाना हुई। दशनाम अखाड़ा चंबा के महंत यतिंद्र गिरि ने छड़ी यात्रा की अगवाई की। यह छड़ी यात्रा छह दिनों तक विभिन्न पड़ावों पर ठहराव के उपरांत 12 सितंबर की शाम मणिमहेश डल पहुंचेगी। मंगलवार शाम दशनाम अखाड़ा परिसर से छड़ी कोविड नियमों का पालन करते हुए मणिमहेश रवाना हुई।
इस छड़ी यात्रा में देश के विभिन्न राज्यों व अखाड़ों से आए साधु संत शामिल रहे। लक्ष्मीनाथ मंदिर परिसर में पूजा-अर्चना के बाद शहर के मुख्य बाजार से होकर छड़ी यात्रा जुलाहकड़ी मोहल्ले स्थित श्रीराधाकृष्ण मंदिर पहुंची। जहां छड़ी यात्रा का मंदिर कमेटी के पदाधिकारियों सहित श्रद्धालुओं ने स्वागत किया। मंगलवार को मंदिर में रात्रि ठहराव के उपरांत छड़ी यात्रा बुधवार सवेरे आगामी पड़ाव को रवाना होगी। मगर इस बार छड़ी यात्रा के दौरान प्रशासन की ओर से कोई प्रबंध न किए जाने पर दशनाम अखाड़ा के मंहत यतिंद्र गिरि ने नाराजगी जाहिर की है।
उन्होंने कहा कि लक्ष्मीनाथ मंदिर परिसर में बगैर प्रसाद लिए ही साधुओं को आगामी पड़ाव की तरफ बढऩे को कहा। इसी बीच महंत व साधुओं की इस नाराजगी का पता चलते ही सदर विधायक पवन नैयर ने स्वयं मंदिर परिसर पहुंचकर नाराज साधुओं को मनाया। साधुओं का कहना था कि हर वर्ष इस छड़ी यात्रा के दौरान जिला प्रशासन की तरफ से अधिकारी दशनाम अखाड़ा पहुंच कर छड़ी यात्रा के साथ चलते थे।
इतना ही नहीं, प्रशासन इस छड़ी यात्रा के बारे में जानकारी सार्वजनिक करता था। छड़ी यात्रा के लिए बैंड-बाजे की व्यवस्था भी प्रशासन करता था, लेकिन इस बार ऐसा कुछ नहीं हुआ। न तो कोई प्रशासनिक अधिकारी छड़ी यात्रा में शामिल हुआ और न ही बैंड-बाजे की कोई व्यवस्था की गई। इस पर विधायक ने कहा कि कम्युनिकेशन गैप के चलते ऐसा हुआ है। उन्होंने कहा कि अगली बार ऐसा हरगिज नहीं होगा।
उधर, एसडीएम सदर नवीन तंवर ने मौके पर पहुंच कर महंत से इस मामले को लेकर बातचीत करने के साथ आश्वासन दिया कि इससे आगे यात्रा में उन्हें इस प्रकार की किसी भी परेशानी का उन्हें सामना नहीं करना पड़ेगा।

