गुंडागर्दी के साथ प्रिंट रेट से अधिक में शराब की बिक्री, जिलेभर में ठेकेदार के गुर्गे मनमानी दर पर बेच रहे शराब और बियर की बोतले, कमीशन के आगे मौन साधना में आबकारी विभाग, पुलिस भी चुपचाप.
हिमखबर – नितिश पठानियां
हिमाचल प्रदेश के पूरे काँगड़ा जिले की शराब दुकानों में खुलेआम निर्धारित दर यानी प्रिंट दर से अधिक पर शराब बेचे जाने के मामले में जिला आबकारी अधिकारी मौन धारण किये हुए है। जानकारी के बावजूद जिले में अधिक दर पर शराब बेचना बंद नहीं हो रहा है।
ठेकेदार के गुर्गो के हौसले इतने बुलंद है कि जिले के अधिकांश दुकानों में प्रिंट रेट से अधिक दर पर शराब बिकती है। अधिक दर पर शराब बेचे जाने की आड़ में जिले में प्रतिमाह हो रहे करोड़ो रुपयों के गोलमाल ने विभागीय अधिकारियों की कार्यशैली समेत सत्ताधारी दल व विपक्षी दलों के नेताओं की चुप्पी ने भी उनकी भूमिका पर सवालिया निशान लगा दिया है।
प्रति बोतल 50 से 100 की कमाई
विदित हो कि आबकारी विभाग के द्वारा जिला मुख्यालय स्थित संचालित कंपोजिट देशी तथा अंग्रेजी शराब दुकान समेत जिले के अधिकांश शराब दुकान में बीते कई माह से निर्धारित से अधिक दर पर शराब बेची जा रही है।
विभागीय अधिकारियों द्वारा अब तक किसी प्रकार की कार्रवाई नहीं की है। प्रिंट रेट से अधिक रेट पर शराब बेचे जाने के मामले में न तो किसी भी प्रकार का नोटिस जारी किया गया है और न ही जांच में भी अधिकारी निकलते है।
शराब दुकान के कर्मचारी बेखौफ होकर ग्राहकों को अधिक दर पर शराब बेचते नजर आ रहे हैे। मौके पर शराब खरीदी कर रहे लोगों ने शिकायत करते हुए बताया कि बीते कई माह से कर्मचारियों द्वारा प्रति बोतल 50 से 100 रुपए अधिक दर पर शराब बेची जा रही है।
जो ग्राहक निर्धारित दर पर ही शराब की मांग करता है उसे शराब नहीं दी जाती है। वहीं जिन ग्राहकों द्वारा बिल की मांग की जाती है उसके साथ शराब दुकान में कार्यरत कर्मचारियों द्वारा गाली गलौज की जाती है।
नहीं दिया जाता है बिल
संचालित कम्पोजिट देशी तथा अंग्रेजी शराब दुकान में दर्जनों लोगों ने शिकायत करते हुए कहा कि शराब दुकान की रेट लिस्ट भी नही लगाई गई है। निर्धारित दरों के हिसाब से कभी भी शराब नहीं बेची जा रही है।
लोगों ने बताया कि नियमानुसार प्रत्येक ग्राहक को शराब खरीदी के बाद मांगे जाने पर बिल दिया जाना चाहिए, परंतु जो भी ग्राहक बिल की मांग करता है शराब दुकान के कर्मचारियों द्वारा उसके साथ गाली गलौज कर भगा दिया जाता है तथा शराब भी नहीं दी जाती है।
अधिकारी शिकायत पर नहीं करते कार्रवाई
क्षेत्र में अवैध शराब बिक्री का धंधा बड़े स्तर पर किया जा रहा है। स्थानीय निवासियों द्वारा संबंधित विभाग को इस अवैध कारोबार के बारे में लंबे समय से शिकायत की जा रही है। परन्तु इस पर किसी तरह की कार्यवाही नहीं की गई है।
इस तरह जिम्मेदारों के बेपरवाह बनने की वजह से जहां यह अवैध कारोबार दिन प्रतिदिन तेजी से बढ़ रहा है। वहीं शराब ठेकेदारों द्वारा रोज नियमों की धज्जियां उड़ाकर बेखौफ अवैध शराब बेच कर करोड़ों की काली कमाई की जा रही है।लेकिन नियमों की पालना कराने और अवैध कारोबार पर अंकुश लगाने की याद अब तक अधिकारियों को नहीं आई है।
शुरू किया पैकारी
जानकारी के अनुसार शराब दुकानों से नियम विरुद्ध बड़ी मात्रा में शराब की पैकारी कराने के लिए गांव की तरफ रूख शुरू कर दिया गया है। आसपास के ग्रामों में जाकर और अधिक महंगे दामों पर बेचते हैं। परंतु व्याप्त चर्चा अनुसार आबकारी विभाग के अधिकारियों की ही शह में जिले में बड़ी मात्रा में शराब कोचिए फल-फूल रहे हैं।
तय रेट से भी महंगे दामों पर देशी व विदेशी शराब ठेकेदारों द्वारा बेची जा रही है, लेकिन ऐसेे ठेकेदारों के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की जा रही है। परिणाम स्वरूप शराब का शौक रखने वाले इन शराब ठेकेदारों के यहां पर लुट रहे है।
नियमानुसार इन ठेकेदारों को शराब की रेट लिस्ट दुकानों पर चस्पा करनी चाहिए। वहीं तय एमआरपी के अनुसार ही शराब बेचनी चाहिए, लेकिन महंगे दामों पर बेच रहे है और शराब के शौकीन मजे से खरीद भी रहे हैं।
शर्मींदगी के चलते शराब के शौकीन शिकायत करने से कतराते हैं। जिसके चलते ठेकेदारों पर भी कार्रवाई नहीं हो पाती है।