अंतर्राष्ट्रीय नशा निषेध दिवस पर छोटा शिमला स्कूल में विशेष कार्यक्रम आयोजित

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अतिरिक्त उपायुक्त ने युवाओं से किया नशे से दूर रहने का आग्रह

शिमला – नितिश पठानियां

सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता विभाग, जिला प्रशासन शिमला और मानव कल्याण सेवा समिति के संयुक्त तत्वाधान से अंतर्राष्ट्रीय नशा निषेध दिवस के अवसर पर आज विशेष कार्यक्रम का आयोजन राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला छोटा शिमला के सभागार में किया गया।

इस कार्यक्रम में अतिरिक्त उपायुक्त अभिषेक वर्मा ने बतौर मुख्यातिथि शिरकत की। कार्यक्रम को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि देश दुनिया में नशीली दवाओं के दुरुपयोग और अवैध तस्करी के खिलाफ हर वर्ष 26 जून को अंतर्राष्ट्रीय नशा निषेध दिवस मनाया जाता है।

उन्होंने कहा कि आज के समय में युवा पीढ़ी भी नशे की चपेट में फंसती जा रही है। हमारे आसपास बहुत से ऐसे युवा है जो नशे की आगोश में चले गए है। नशा समाज के लिए बहुत बड़ी चुनौती बन गया है, जिसमें फंस कर युवा अपना भविष्य बर्बाद कर रहे हैं। आज शिक्षा में होनहार विद्यार्थी भी नशे की चपेट में आ चुके है।

उन्होंने युवाओं से आह्वान करते हुए कहा कि ऐसे युवाओं से हमेशा दूरी रखें जो नशे की गिरफ्त में आ चुके है। उन्होंने बच्चों से अपने आप को रचनात्मक कार्यों में लगाए रखने का आग्रह किया तथा खेलों के प्रति अपनी रुचि विकसित करने का सुझाव दिया। उन्होंने कहा कि नशे से बचने के लिए स्वयं को हमेशा नशे के खिलाफ रहने के लिए प्रेरित करते रहें। उन्होंने कहा कि युवा अपने बेहतर करियर के लिए संजीदा रूप से मेहनत करें।

जिला कल्याण अधिकारी केवल राम चौहान ने मुख्यातिथि और विशिष्ट अतिथियों को शॉल और टोपी पहनाकर सम्मानित किया। कार्यक्रम में राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला छोटा शिमला की प्रधानाचार्य सुमन पटियाल ने स्वागत भाषण दिया।

मानव कल्याण सेवा समिति के क्षेत्रीय संयोजक दीपक सुंदरियाल ने कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि समाज के हर व्यक्ति को नशे के खिलाफ अग्रणी भूमिका निभानी होगी। माता-पिता बच्चों के दोस्त बनकर उन्हें नशे से दूर रहने के लिए प्रेरित करें। इसके साथ ही स्वास्थ्य विभाग की ओर से  डाॅ. अनुज ने नशे के लक्षण और दुष्प्रभावों के बारे में जानकारी दी।

नशे को छोड़ चुके साहिल डोगरा ने बच्चों के साथ अपने अनुभव सांझा करते हुए कहा कि लगातार दस वर्षों तक नशे के आदि होने के कारण उन्होंने अपना करियर और जिंदगी पूरी तरह बर्बाद कर ली। लेकिन अब नशा मुक्ति केंद्र की सहायता से उन्होंने नशा छोड़ दिया है। नशे को हमेशा न कहना सीखे। नशा जिदंगी नहीं है बल्कि समस्या की जड़ है।

कार्यक्रम में मानव कल्याण सेवा समिति की ओर से एक लघु नाटिका का आयोजन किया गया, जिसमें एक छात्र किस तरह नशे के चंगुल में फंस जाता है, इसके बारे में दिखाया गया। नाटिका में अभिनय करने वाले कलाकारों ने बेहतर प्रदर्शन किया और खूब तालियां बटौरी।

कार्यक्रम में  नारा लेखन, भाषण प्रतियोगिता और चित्रकला प्रतियोगिता का आयोजन भी किया गया। चित्रकला प्रतियोगिता में कक्षा दसवीं की सुहानी ने प्रथम, जमा दो के नवीन नांटा ने द्वितीय और कक्षा सातवीं के रोजा दीन ने तृतीय स्थान हासिल किया।

नारा लेखन प्रतियोगिता में जमा एक की एंजल शांडिल ने प्रथम, कक्षा आठवीं के हिमांशु शर्मा ने द्वितीय और दसवीं की शीतल ने तृतीय स्थान हासिल किया। भाषण प्रतियोगिता में जमा दो प्रक्षित वर्मा ने प्रथम, दसवीं की काजल ने द्वितीय स्थान और कक्षा पांचवीं की कृतिका ने तृतीय स्थान हासिल किया। मुख्यातिथि ने सभी विजेता और उपविजेताओं को स्मृति चिन्ह देकर सम्मानित किया।

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