हिमखबर – डेस्क
प्रदेश सरकार ने हिमाचल प्रदेश के जिला हमीरपुर के जाहू तथा जिला कांगड़ा के जलाड़ी-खराड़ी से दौलतपुर को जोड़ने वाले पुल के गिरने के मामले में 14 अधिशासी अभियंता, सहायक अभियंता तथा कनिष्ठ अभियंता को चार्जशीट किया है।
इसमें कांगड़ा में पुल गिरने के मामले में 9 व हमीरपुर के जाहू में पुल गिरने के मामले में 5 पर गाज गिरी है। इन पर पुलों के निर्माण कार्यों में लापरवाही के लिए यह गाज गिरी है। चार्जशीट में सरकार ने इन सभी से जवाब तलबी की है।
चार्जशीट किए गए अधिशासी अभियंता, सहायक अभियंता तथा कनिष्ठ अभियंता के जवाब से संतुष्ट नहीं होने पर सरकार जांच अधिकारी तैनात करेगी तथा उनके खिलाफ कंडक्ट रूल के तहत कार्रवाई की जाएगी।
कांगड़ा जिले में पुल गिरने के मामले में 3 अधिशासी अभियंता, 4 सहायक अभियंता तथा 2 कनिष्ठ अभियंता को चार्जशीट किया गया है। इसी तरह जिला हमीरपुर के जाहू में पुल के गिरने के मामले में 2 अधिशासी अभियंता, 1 सहायक अभियंता तथा 2 कनिष्ठ अभियंता को चार्जशीट किया गया है।
लोक निर्माण विभाग ने पुलों के गिरने के मामले में रिपोर्ट का अध्ययन करने के उपरांत ड्राफ्ट चार्जशीट प्रदेश सरकार को भेजी थी, जिस पर यह कार्रवाई अमल में लाई गई है। इसके अलावा दोनों पुलों के गिरने के मामले में ठेकेदारों पर भी कार्रवाई के आदेश जारी किए गए हैं।
आपदा से पहले डेढ़ माह में गिरे 5 पुल
राज्य में इस साल आपदा से पहले मार्च से अप्रैल माह के बीच करीब डेढ़ माह में 5 पुल गिर गए थे। इसमें दो पुल चम्बा व सिरमौर में क्षमता से अधिक वाहन गुजरने तथा चम्बा में एक पुल भूस्खलन के कारण गिरा है। इसके अलावा दो पुल जाहू व कांगड़ा में निर्माणाधीन थे।
इन्हीं दो पुलों के गिरने में अधिकारी व ठेकेदार दोषी पाए गए हैं। इन दोनों में मैकेनिकल व डिजाइनिंग को लेकर खामियां पाई गई हैं।
विभाग ने चम्बा में क्षमता से अधिक वाहन के गुजरने से टूटे पुल का निर्माण संबंधित कंपनी से राशि वसूल कर इसका फिर से निर्माण करवा दिया है जबकि सिरमौर पुल मामले में भी वाहन मालिक से पैसे वसूले जा रहे हैं।
बता दें कि हिमाचल में कुल 2500 पुल हैं, जिनमें से 200 वैली पुल हैं। इन वैली पुलों की क्षमता 9 टन की है।