20 फरवरी को 3021 आंगनवाड़ी केन्द्रों और 2744 पाठशालाओं में खिलाई जाएगी एलबेंडाजोल

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20 फरवरी को 3021 आंगनवाड़ी केन्द्रों और 2744 पाठशालाओं में खिलाई जाएगी एलबेंडाजोल

मंडी, 17 फरवरी – अजय सूर्या

उपायुक्त मंडी अपूर्व देवगन ने बताया कि राष्ट्रीय कृमि मुक्ति दिवस पर 20 फरवरी को मंडी जिला में 3021 आंगनबाड़ी केन्द्रों और 2744 पाठशालाओं में बच्चों को एलबेंडाजोल की दवाई खिलाई जाएगी। यह जानकारी उपायुक्त ने मुख्य चिकित्सा अधिकारी मण्डी के सभागार में आयोजित जिला टास्क फोर्स की बैठक की अध्यक्षता करते हुए दी।

उन्होंने कहा कि पहले चरण में अगस्त 2024 में जिला स्तरीय कृमि मुक्ति दिवस की सफलता दर 99.4 प्रतिशत रही जो सराहनीय है। जिसमें स्वास्थ्य विभाग के अलावा बाल विकास विभाग तथा शिक्षा विभाग का योगदान महत्वपूर्ण रहा है। उन्होंने बताया कि मंडी जिला में एक से 19 वर्ष आयु वर्ग के कुल 2,48,520 बच्चे हैं जिन्हे दूसरे चरण में 20 फ़रवरी को सभी 3021 आंगनबाड़ी केन्द्रों और 2744 पाठशालाओं में एलबेंडाजोल दवाई खिलाई जाएगी।

उन्होंने इस चरण में सभी विभागों विशेषकर स्वास्थ्य विभाग को 100 प्रतिशत लक्ष्य हासिल करने के निर्देश देते हुए कहा कि कोई भी बच्चा इस अभियान में छूटना नहीं चाहिए तथा इस कार्य को पूर्ण करने के लिए जिला प्रशासन पूर्ण सहयोग के लिए तत्पर है।

उन्होंने जिला मंडी के सभी अभिभावकों से आह्वान किया कि वे अपने एक से 19 वर्ष आयु वर्ग के बच्चों को 20 फरवरी को बच्चों के बेहतर स्वास्थ्य के लिए आंगनबाड़ी/स्कूल अवश्य भेजें तथा एलबेंडाजोल की दवाई की खुराक लेने के लिए प्रेरित करें।

ये रहे उपस्थित

बैठक में डॉ नरेंद्र कुमार भारद्वाज मुख्य चिकित्सा अधिकारी, डॉ धर्म सिंह वर्मा चिकित्सा अधीक्षक, डॉ पवनेश शर्मा जिला कार्यक्रम अधिकारी, लोक सिंह नेगी जन शिक्षा व सूचना अधिकारी, ग्यारह स्वास्थ्य खंडों के प्रमुख व शिक्षा उप निदेशक एलीमेंट्री व सेकेण्डरी , डी पी ओ बाल विकास अजय बदरेल जिला मण्डी, जिला पंचायत अधिकारी अंचित डोगरा सहित अन्य कर्मचारी उपस्थित रहे।

वर्ष में दो बार खिलाई जाती है एल्बेंडाजोल

मुख्य चिकित्सा अधिकारी मण्डी डॉ नरेन्द्र कुमार भारद्वाज ने बताया कि एक वर्ष से 19 वर्ष की आयु तक के बच्चों को कृमि मुक्त कार्यक्रम के दौरान वर्ष मे दो बार 6 मास के अन्तराल पर एल्बेंडाजोल की गोली खिलाई जाती है तथा यह गोली एक से पांच वर्ष के बच्चों को आंगनबाड़ी केंद्रो में आंगनवाडी कार्यकर्ता द्वारा तथा 6 से 19 वर्ष के बच्चों को स्कूलों में प्रशिक्षित अध्यापकों द्वारा खिलाई जाएगी।

छूटे बच्चे को यह गोली 27 फरवरी को खिलाई जाएगी

उन्होंने कहा कि एक से दो वर्ष के बच्चों को एल्बेंडाजोल की आधी गोली चम्मच में पीस कर खिलाई जाएगी तथा दो वर्ष से ऊपर के बच्चों को यह गोली अपने सामने चबाकर खाने को कहा जाएगा। गोली खाने के बाद बच्चे को कम से कम पन्द्रह मिनट तक अपनी निगरानी में बिठाकर रखा जाएगा ताकि किसी भी तरह की होने वाली स्वास्थ्य सम्बंधी परेशानी से बचा जा सके।

किसी भी कारणवश छूटे बच्चे को यह गोली 27 फरवरी को खिलाई जाएगी व एक मार्च तक इसकी रिपोर्ट ए एन एम के माध्यम से खण्ड स्तर तथा 2 मार्च तक जिला स्तर पर पहुंच जानी चाहिए । इस कार्यक्रम में दो से पाँच वर्ष की आयु के बच्चों को आंगनवाडी केन्द्रो पर गोली के अतिरिक्त विटामिन ए की खुराक भी पिलाई जाएगी।

भारत में 24.1 करोड़ बच्चे कृमि रोग या कृमियों

भारत में 24.1 करोड़ बच्चे (एक से 14 वर्ष) कृमि रोग या कृमियों से होने वाले संक्रमण से ग्रसित है जो सम्पूर्ण विश्व का लगभग प्रतिशत बनता है। इस कारण इस आयु वर्ग के बच्चों में कुपोषण, एनीमिया, शारीरिक व मानसिक विकास में रुकावट, याद रखने में कठिनाई, के अलावा संक्रमण, आंतों से संबंधित समस्याएं, अतिसार व डिहाइड्रेशन की समस्या हो सकती है।

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