पंचायत इलेक्शन: इस बार 1,789 महिलाएं बनेंगी पंचायत प्रधान, 50 फीसदी आरक्षण से मिलेगा ये फायदा, पंचायतीराज संस्थाओं के चुनाव में महिलाओं के लिए 50 फीसदी आरक्षण लागू होने पर इनके हिस्से में कुल सीटों की आधी संख्या आएगी।
शिमला – नितिश पठानियां
हिमाचल प्रदेश में इस बार 1,789 महिलाओं के हाथ में ग्राम पंचायत प्रधान की कमान होगी। वर्ष 2020 में हुए पंचायत चुनाव में 1,808 महिलाओं के हाथ में ग्राम पंचायतों की कमान थी।
हाल ही में सरकार ने करीब 44 पंचायतों को नगर पंचायत बनाया है, जबकि योल कैंट से कट कर भी चार नई ग्राम पंचायतें बनी हैं। बीते पंचायत चुनाव की तुलना में अब प्रदेश में 3,577 ग्राम पंचायतें हैं।
जयराम सरकार के कार्यकाल में पंचायतों की संख्या 3,615 थी। पंचायतों की संख्या कम होने से करीब 19 ग्राम पंचायतों में महिला नेतृत्व कम होगा।
ग्राम पंचायतों की 50 फीसदी सीटाें पर ही महिला आरक्षण तय करने के लिए ब्लॉक को इकाई माना गया है। किसी ब्लॉक में ग्राम पंचायतों की संख्या अगर विषम आती है तो प्वाइंट पांच का फार्मूला लगने से एक और सीट महिला के खाते में जुड़ेगी।
सीट ओपन होने पर भी महिलाएं चुनाव लड़ सकती हैं। यहां भी उन्हें अधिकार दिए गए हैं। पंचायतीराज संस्थाओं के चुनाव में महिलाओं के लिए 50 फीसदी आरक्षण लागू होने पर इनके हिस्से में कुल सीटों की आधी संख्या आएगी।
पंचायती राज विभाग का मानना है कि अगर विषम संख्या की स्थिति आती है तो पुरुषों के मुकाबले में महिलाओं को एक सीट अधिक मिलेगी। पंचायतों में प्रधान पद के लिए आरक्षण ब्लॉक स्तर पर लागू होता है।
वर्तमान में प्रदेश में ब्लॉकों की संख्या 91 है। इन विकास खंडों में आने वाली जितनी भी विषम संख्या वाली पंचायतें होंगी, वहां पर पुरुषों की तुलना में महिला को आरक्षण के नियमों के मुताबिक एक सीट अधिक मिलेगी।
हिमाचल प्रदेश में दिसंबर में पंचायतीराज संस्थाओं का कार्यकाल पूरा होना है। संभावित है कि इस बार दिसंबर में ही पंचायतीराज संस्थाओं के चुनाव हों। विभाग और राज्य निर्वाचन आयोग की ओर से भी चुनाव को लेकर तैयारियां शुरू कर दी गई हैं।
उपायुक्तों को रोस्टर तैयार करने के निर्देश दिए गए हैं। प्रदेश में 3577 पंचायतों में प्रधान, उपप्रधान, 91 पंचायत समितियों और 249 जिला परिषद वार्डों में सदस्यों के चुनाव होने हैं। प्रदेश में केवल उपप्रधान का ऐसा पद है, जो अनारक्षित है।
पंचायती राज मंत्री अनिरुद्ध सिंह ने कहा कि हिमाचल में 3,577 पंचायतों में चुनाव होना है। इसमें महिलाओं के लिए 50 फीसदी आरक्षण है। ओपन सीट होने पर भी महिलाएं चुनाव लड़ सकती हैं। ऐसे में महिलाओं के नेतृत्व का आंकड़ा और बढ़ेगा।