व्यूरो, रिपोर्ट
जहां एक ओर आज का भ्रमित नौजवान नशे की ओर प्रेरित हो रहा है, वहीं दूसरी ओर राहत भरी खबर यह है कि देश का सजग युवा इन नशों से दूर रहकर अपने भविष्य के सपने संजोने में व्यस्त है। बात कर रहे हैं बडूखर क्षेत्र के युवाओं की जो अपने पंखों को उड़ान देने के लिए सर्द भरे मौसम में भी जी जान से मेहनत कर खूब पसीना बहा रहा है। युवा वर्ग में देश सेवा का जज्बा इतना अधिक है कि न तो सर्द भरे मौसम की परवाह है और न ही बीमार होने की चिंता।
सुबह जहां एक ओर आम जनमानस 8 बजे तक रजाई में दुबक कर सोना पसंद करता है वहीं यह युवा आसपास के गांवों से सुबह 5 बजे के करीब बडूखर के पास डूहग गांव में एकत्रित होकर एक छोटे से मैदान में दौड़ लगा रहे होते हैं। कबिलेगौर यह है कि बडूखर में पिछली पंचायत के प्रयास से एक मैदान का निर्माण किया जा रहा था, लेकिन अधूरे मैदान व आसपास कोई भी और खेल का मैदान नहीं होने के चलते इन युवाओं ने खुद ही मेहनत कर डूहग में खड्ड के किनारे मैदान साफ किया व मैदान में कई तरह की हर्डल्स खुद तैयार कर वहां शारीरिक क्षमता को बढ़ाने के लिए खुद को तैयार कर रहे हैं।
इनके पास न तो कोई शारीरिक कसरत करवाने के लिए रोज प्रशिक्षक उपलब्ध है और न ही संसाधन हैं कि किस तरह का व्यायाम व शारीरिक परिश्रम किया जाए, ताकि इनके प्रयास सार्थक हो सकें। केवल कुछ युवा जो यहां दौड़ लगा कर भर्ती हुए हैं वह कभी कभार छुट्टी के दौरान यहां के युवाओं को प्रशिक्षित करने के लिए आते हैं अन्यथा एक जुनून के सहारे व खुद की मेहनत के बल पर यहां से तैयार होकर युवा देश सेवा के लिए खुद को समर्पित करने का जज्बा पाले हुए हैं। रोज लगभग 100 से 150 के करीब युवाओं का रेला इस मैदान में दौड़ व व्यायाम करता है।