बिलासपुर- सुभाष चंदेल
कोरोना टेस्ट के दौरान बिलासपुर जिला के एक युवक की नाक में ऊना के एक डॉक्टर द्वारा स्ट्रिप छोड़ देने का एक मामला सामने आया है। उपमंडल स्वारघाट की अंतिम छोर पर स्थित बस्सी पंचायत के घट्टेवाल का 21 वर्षीय युवक अश्वनी कुमार मार्च माह में ऊना में आयोजित आर्मी भर्ती में भाग्य आजमाने गया था। अब कोरोनाकाल के चलते भर्ती में भाग लेने वाले सभी अभ्यर्थियों को कोरोना टेस्ट अनिवार्य किया गया था जिसके तहत अश्वनी कुमार ने भी ऊना के सरकारी अस्पताल में 17 मार्च को अपना कोरोना टेस्ट करवाया।
अश्वनी का कोरोना टेस्ट तो नेगेटिव आया परन्तु टेस्ट करवाने के बाद अश्वनी के नाक व सिर में तेज दर्द रहने लगा।भर्ती प्रक्रिया से गुजरने के बाद घर पहुंचने पर जब अश्वनी की तबीयत खराब रहने लगी तो उसने निजी क्लीनिकों से दवाई लेना शुरू कर दी परन्तु कोई आराम नहीं पहुंचा।धीरे -धीरे वक्त का पहिया घूमता गया और 5 महीने बाद अगस्त माह में पीड़ा बढ़ने के साथ अश्वनी की नाक से खून बहना भी शुरू हो गया।
24 अगस्त को अश्वनी को छींक के साथ अश्वनी की नाक में कोरोना टेस्ट के दौरान डॉक्टर द्वारा छोड़ दी गई लम्बी स्ट्रिप का कुछ हिस्सा बाहर निकला जिसके बाद खींचकर इसे पूरी बाहर निकाला गया। अश्वनी कुमार ने बताया कि उसने इस चिकित्सकीय लापरवाही के विरुद्ध शिकायत को मुख्यमंत्री हेल्पलाइन पर दर्ज करवा दिया है।