सिरमौर- नरेश कुमार राधे
हिमाचल प्रदेश के जिला सिरमौर में स्थित सैनधार की नेहरस्वार पंचायत के मानरिया गांव में आज भी मोबाइल नेटवर्क की कनेक्टिविटी न मिलने से ग्रामीण परेशान है। सोशल मीडिया और संचार क्रांति के इस दौर में मोबाइल नेटवर्क के अभाव में शासन की ऑनलाइन योजनाओं और सुविधाओं का लाभ भी ग्रामीणों को नहीं मिल रहा है। जननी एक्सप्रेस, 108 एम्बुलेंस और 100 डायल की जरूरत पड़ने पर ग्रामीणों को नेटवर्क की तलाश में कई किलोमीटर तक भटकना पड़ता है।
इस पंचायत के ही नहीं बल्कि कई पंचायतों के हजारों लोग नेटवर्क न मिलने से परेशान है। आधुनिक के इस दौर में गांव-गांव मोबाइल नेटवर्क पहुंचाने के दावे यहां खोखले साबित हो रहे है। ग्राम पंचायतों में भी नेट की सुविधा न होने से ऑनलाइन योजनाओं के लाभ से ग्रामीण वंचित है।
मानरिया गांव समेत अन्य गांव पहाड़ी क्षेत्र से घिरा होने के कारण दूर-दूर तक मोबाइल टॉवर नहीं मिलता। वहीं गांव में माता मनसा देवी का मंदिर भी है, यहां से बहुत से भक्तों की आस्था जुड़ी है। लेकिन जब श्रद्धालु दर्शन के लिए आते है तो सबसे बड़ी समस्या नेटवर्क की होती है। वहीं कोरोना काल मे बच्चों की पढ़ाई भी ऑनलाइन थी। बच्चों को पढ़ाई के लिए कई किलोमीटर दूर जंगल में जाना पड़ता है।
ग्रामीणवासियों संजीव शर्मा, रामचंद्र शर्मा, गणेश शर्मा, ओमदत्त शर्मा, अशोक, जयप्रकाश, अजय, विकास, सचिन, बाबूराम, प्रदीप, तारा दत्त का कहना है कि अगर ऐसे हालत रहे तो डिजिटल इंडिया का सपना कैसे पूरा होगा। उन्होंने बताया कि यहां पर किसी भी कंपनी के नेटवर्क का टावर नहीं है।
उन्होंने प्रशासन व मोबाइल नेटवर्क कंपनियों से अपील की है कि अगर यहां कोई टावर लग जाए तो कई गांवों का नहीं बल्कि कई पंचायतों की समस्या का समाधान हो जाएगा। उन्होंने कहा कि उपरोक्त पंचायतों में मोबाइल नेटवर्क सेवाओं को सुचारू करवाया जाए।