कुर्सी के लालच में तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी ने देश मे घोषित की थी इमरजेंसी, 21 महीने देश रहा आपातकाल में, भाजपा जिला कार्यालय नूरपुर आपातकाल के 50 वर्ष पर संगोष्ठी का हुआ आयोजन, भाजपा प्रदेश सचिव सुमित शर्मा रहे मुख्यतिथि, पूर्व मंत्री राकेश पठानियां, पूर्व विधायिका रीता धीमान सहित जिले के प्रमुख पदाधिकारी रहे उपस्थित
नूरपुर – स्वर्ण राणा
जिला बीजेपी कार्यालय नूरपुर में आज आपातकाल की 50वीं वर्षगांठ के अवसर पर संगोष्ठी का आयोजन किया गया। कार्यक्रम में भाजपा प्रदेश सचिव सुमित शर्मा ने मुख्य अतिथि के रूप में शिरकत की।
वही पूर्व मंत्री राकेश पठानिया,पूर्व विधायक इंदौरा रीता धीमान,ज्वाली भाजपा प्रत्याशी संजय गुलेरिया और भाजपा जिला अध्यक्ष राजेश काका सहित सभी प्रमुख कार्यकर्ता उपस्थित रहे।
सुमित शर्मा ने प्रेसवार्ता को संबोधित करते हुए कहा कि 25 जून 1975 को लगे आपातकाल को लोकतंत्र पर सबसे बड़ा आघात था।
उन्होंने कहा कि देश में आपातकाल तीन परिस्थितियों में लगाया जा सकता है जिसमें या बाहरी आक्रमण हो,आंतरिक विद्रोह हो या फिर आर्थिक संकट की स्थिति हो लेकिन उस समय ऐसी कोई भी स्थिति नहीं थी।
उन्होंने आरोप लगाया कि तत्कालीन प्रधानमंत्री स्व. इंदिरा गांधी ने सत्ता के लोभ में राष्ट्रपति से दबाव में आकर हस्ताक्षर करवा कर यह आपातकाल देश पर थोपा था।
उन्होंने बताया कि यह आपातकाल 21 महीनों तक चला, जिसमें मीडिया, विपक्षी नेताओं, छात्र संगठनों, पत्रकारों और आम नागरिकों को जबरदस्ती जेलों में डाला गया।