शिमला – नितिश पठानियां
इंदिरा गांधी मेडिकल कॉलेज (आईजीएमसी) में मरीजों को मिल रही निशुल्क टेस्ट की सुविधा आने वाले दिनों में बंद हो सकती है। आईजीएमसी में बुधवार को हुई रोगी कल्याण समिति की कार्यकारी समिति की बैठक में इसको लेकर चर्चा की गई। हालांकि इसको लेकर अंतिम निर्णय प्रदेश सरकार लेगी।
बैठक की अध्यक्षता आईजीएमसी प्राचार्य डॉ. सीता ठाकुर ने की। इसमें चर्चा की गई कि अस्पताल में मौजूदा समय में सभी टेस्ट निशुल्क में हो रहे हैं। लिहाजा कुछ टेस्टों पर न्यूनतम शुल्क लगाया जाए। इससे आरकेएस को आमदनी होगी। आरकेएस के पास बजट उपलब्ध होगा तो इससे रोगियों को बेहतर सुविधाएं उपलब्ध करवाई जा सकेंगी।
बैठक में चर्चा की गई कि मौजूदा समय में किट न होने के कारण कई टेस्ट बंद चल रहे हैं। ऐसे में अगर आरकेएस के पास बजट उपलब्ध होता है तो मरीजों को टेस्ट बंद होने से होने वाली परेशानियों से नहीं जूझना पड़ेगा। इसके अलावा बैठक में कर्मचारियों के लिए पार्किंग पास की फीस 250 रुपये करने पर भी चर्चा की गई है।
बैठक में न्यू ट्रॉमा ब्लॉक और कैंसर अस्पताल में ऑक्सीजन पाइपलाइन लगाने से पहले तकनीकी सलाह लेने का निर्णय लिया है। इसके बाद ही आगामी प्रक्रिया शुरू की जाएगी।
अस्पताल की सफाई व्यवस्था का टेंडर अभी इसी कंपनी को जारी रखने के लिए कहा गया। बताया जा रहा है कि कंपनी की टेंडर अवधि पूरी हो गई है। कंपनी को हटा दिया गया तो इससे सफाई व्यवस्था पूरी चौपट हो जाएगी। ऐसे में इस मामले को प्रबंधन सरकार के पास ले जाएगी।
ये रहे उपस्थित
बैठक में अस्पताल के वरिष्ठ चिकित्सा अधीक्षक डॉ. राहुल राव, महापौर सुरेंद्र चौहान, सेमडिकोट अध्यक्ष डॉ. बलवीर वर्मा, कर्मचारी महासंघ के महासचिव हनीष ठाकुर और लोकनिर्माण विभाग के एसडीओ राकेश चंदा समेत अन्य पदाधिकारी मौजूद रहे।