शिमला – नितिश पठानियां
हिमाचल प्रदेश पावर कॉरपोरेशन लिमिटेड (एचपीपीसीएल) के चीफ इंजीनियर विमल नेगी की संदिग्ध परिस्थितियों में हुई मौत का मामला लगातार तूल पकड़ता जा रहा है।
इस मामले में नामजद पावर कॉर्पोरेशन के निदेशक रहे देश राज ने जमानत के लिए हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया है। हाईकोर्ट में दाखिल याचिका पर शनिवार को सुनवाई हुई, जिसमें पुलिस ने मामले से जुड़ी स्टेटस रिपोर्ट पेश की।
जस्टिस वीरेंद्र सिंह की कोर्ट ने अब 24 मार्च को अगली सुनवाई तय की है और पुलिस को सप्लीमेंट्री स्टेटस रिपोर्ट दाखिल करने के निर्देश दिए हैं।
शिमला पुलिस ने विमल नेगी मौत मामले में उनकी पत्नी की शिकायत पर आत्महत्या के लिए उकसाने की एफआईआर दर्ज की है। इस एफआईआर में देशराज नामजद है।
बता दें कि विमल नेगी 10 मार्च को शिमला से रहस्यमयी तरीके से लापता हो गए थे। उनकी आखिरी मोबाइल लोकेशन बिलासपुर जिले में मिली थी।
कई दिनों तक चले सर्च ऑपरेशन के बाद 18 मार्च को उनका शव गोविंद सागर झील से बरामद हुआ। इस घटना से उनके परिजनों में गहरा आक्रोश फैल गया।
मृतक की पत्नी ने पावर कॉरपोरेशन के निदेशक देशराज पर मानसिक प्रताड़ना के गंभीर आरोप लगाए हैं और कहा कि उन पर गलत कामों के लिए दबाव बनाया जा रहा था, जिससे वे मानसिक तनाव में थे।
मौत के बाद विमल नेगी के परिजनों और सहयोगी कर्मचारियों ने 19 मार्च को शिमला स्थित एचपीपीसीएल दफ्तर के बाहर उनके शव को रखकर प्रदर्शन किया।
उन्होंने पावर कॉरपोरेशन के अधिकारियों पर गंभीर आरोप लगाए और न्याय की मांग की। स्थिति की गंभीरता को देखते हुए सरकार के चार मंत्री मौके पर पहुंचे और उचित कार्रवाई का आश्वासन दिया, जिसके बाद धरना समाप्त हुआ।
मामले के बढ़ते दबाव के बीच राज्य सरकार ने कड़े कदम उठाए। निदेशक (विद्युत) देश राज को निलंबित कर दिया गया, जबकि एमडी हरीकेश मीना को उनके पद से हटा दिया गया।
उनकी जगह 2012 बैच के आईएएस अधिकारी राकेश प्रजापति को नया प्रबंध निदेशक नियुक्त किया गया। वहीं निदेशक (सिविल) सुरिंदर कुमार को अतिरिक्त रूप से निदेशक (इलेक्ट्रिकल) का प्रभार दिया गया।
इस मामले की निष्पक्ष जांच सुनिश्चित करने के लिए सरकार ने गृह विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव ओंकार शर्मा को जांच अधिकारी नियुक्त किया है। उन्हें 15 दिनों के भीतर अपनी रिपोर्ट सौंपने को कहा गया है।
दूसरी ओर न्यू शिमला थाने में विमल नेगी की पत्नी की शिकायत पर आत्महत्या के लिए उकसाने की एफआईआर दर्ज की गई है। मामले ने राजनीतिक रंग भी ले लिया है। विपक्षी दल भाजपा ने इसे लेकर सरकार को घेरा और निष्पक्ष जांच की मांग उठाई।
नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर और प्रदेश भाजपा अध्यक्ष डॉ. राजीव बिंदल के नेतृत्व में भाजपा विधायक दल ने शुक्रवार को राज्यपाल शिव प्राप्त शुक्ल से मुलाकात कर सीबीआई जांच की मांग करते हुए ज्ञापन सौंपा।