शिमला – नितिश पठानियां
सूबे की राजधानी शिमला में नशे के खिलाफ जंग में अब आम लोग भी पुलिस की सहायता कर सकते हैं। शिमला व्यापार मंडल ने पुलिस को चिट्टा (हेरोइन) की तस्करी करने वालों की सूचना देने वाले लोगों को 11 हजार रुपए तक का नकद पुरस्कार देने की घोषणा की है। इसका मकसद शिमला में चिट्टे के बढ़ते कारोबार पर लगाम लगाना और युवाओं को नशे की चपेट में जाने से बचाना है।
शिमला व्यापार मंडल के अध्यक्ष संजीव ठाकुर और उपाध्यक्ष राजकुमार ने बताया कि यह फैसला पुलिस के नशा विरोधी अभियान को मजबूत करने के लिए लिया गया है। उन्होंने कहा कि पुलिस चिट्टे के कारोबार को खत्म करने के लिए पूरी ताकत से काम कर रही है और अब तक कई बड़े गिरोहों का पर्दाफाश किया जा चुका है। बावजूद इसके शहर में यह अवैध कारोबार पूरी तरह से खत्म नहीं हुआ है। इसलिए पुलिस की सहायता के लिए आम नागरिकों को आगे आने की जरूरत है।
व्यापार मंडल के प्रधान ने यह भी स्पष्ट किया कि चिट्टा तस्करों के बारे में पुलिस को सूचना देने वालों को शिमला व्यापार मंडल नकद पुरस्कार देगा। उनकी पहचान पूरी तरह से गोपनीय रखी जाएगी। यह सुनिश्चित किया जाएगा कि सूचना देने वाले व्यक्ति की सुरक्षा से कोई समझौता न हो।
अगर कोई व्यक्ति किसी नशा तस्कर के बारे में जानकारी देता है तो पुलिस उसे पूरी तरह गुप्त रखेगी और शिमला व्यापार मंडल उसे 11 हज़ार रुपए तक नकद इनाम से पुरस्कृत करेगा। यह पुरस्कार पुलिस के माध्यम से दिया जाएगा।
संजीव ठाकुर ने कहा कि शिमला के युवाओं को नशे की बुरी लत से बचाने के लिए हमें मिलकर काम करना होगा। अगर हम इस समस्या से लड़ने के लिए एकजुट हो जाएं तो हम अपने शहर को चिट्टे के जाल से मुक्त कर सकते हैं। नशे के खिलाफ यह लड़ाई अकेले पुलिस की नहीं है बल्कि समाज के हर वर्ग की जिम्मेदारी है।