बिलासपुर- सुभाष चंदेल
वीरवार देर रात उपमंडल स्वारघाट में हिमाचल-पंजाब सीमा के निकट ग्राम पंचायत री के गांव गरा में ढांक से गिरने से एक व्यक्ति की मौत हो गई। बताया जा रहा है कि 66 वर्षीय व्यक्ति रामआसरा निवासी गरा अपने घर जा रहा था कि बारिश में ढांक से पैर फिसलने से वह करीब 200 मीटर नीचे नैशनल हाईवे चंडीगढ़-मनाली पर जा गिरा।
राम आसरा की चीख सुनकर गांव वासी तुरंत मौके पर पहुंचे तथा उसे उठाकर आनंदपुर अस्पताल पहुंचाया लेकिन जख्मों के ताव न सहते हुए उसने दम तोड़ दिया। ग्रामीणों का कहना था कि यह खाई फोरलेन कंपनी द्वारा कीरतपुर-नेरचौक फोरलेन कार्य के दौरान कटिंग करके बनाई गई है। इसलिए कंपनी पर लापरवाही का मामला दर्ज होना चाहिए।
उनका कहना था कि इससे पूर्व भी ग्रामीणों के पालतू पशु इस खाई में गिरकर मौत के मुंह में समा चुके हैं। ग्रामीणों के अनुसार टूटे रास्तों को लेकर वे प्रशासन के पास पहले भी कई बार गुहार लगा चुके हैं लेकिन मामला जस का तस बना हुआ है।
ग्रामीणों ने किया चक्का जाम
कुछ देर बाद घटना से गुस्साए ग्रामीणों ने रामआसरा के शव को सड़क पर रखकर चक्का जाम कर दिया। इस दौरान ग्रामीणों ने एनएचएआई सहित जिला प्रशासन के विरुद्ध जोरदार नारेबाजी की। बारिश के बावजूद ग्रामीण शव को लेकर सड़क पर काफी देर तक डटे रहे।
हाईवे बंद होने की सूचना पर स्वारघाट पुलिस सहित एसडीएम स्वारघाट राजकुमार मौके पर पहुंचे। इस दौरान हाईवे पर सड़क के दोनों ओर वाहनों की लंबी कतारें लग गईं।
एसडीएम द्वारा समझाए जाने तथा कंपनी के खिलाफ कार्रवाई के आश्वासन के बाद करीब आधे घंटे के पश्चात ग्रामीणों ने सड़क मार्ग को खोल दिया। ग्रामीणों की मांग पर एसडीएम ने माना कि यदि रामआसरा की मृत्यु की जिम्मेदार फोरलेन कंपनी होगी तो कंपनी पर नियमानुसार कार्रवाई की जाएगी।