पिछले लॉकडाउन मे भी रोहित को खेलते समय सिर पर चोट लग जाने के कारण सिर मे जम गया था खून, इस बार भी सीढ़ियों से गिरने के कारण जिस से सिर पर जम गया खून
कुल्लू, मनदीप सिंह
पिछले 2 सालों से लॉकडाउन के कारण कई मध्यमवर्ग परिवारों को दिक्कतों का सामना करना पड़ा है। ऐसा ही एक परिवार, भुंतर गांव जिया जो कि पिछले कुछ वर्षों से रामपुर बुशहर से रोजगार की तलाश में भुंतर आकर रह रहे हैं।
पति राजीव ड्राइवर का कार्य करता है। पत्नी संजना मजदूरी करके अपने परिवार का पालन पोषण करते हैं। किराए के मकान में रहना और रोजगार करके अपना गुजारा कर लेते हैं। लेकिन लॉकडाउन की मार ऐसी पड़ी की एक तो रोजगार छूट गया। ऊपर से बेटे के सिर की चोट के कारण जमा पूंजी भी खत्म हो गई। हालत ऐसी हो गई कि दो वक्त की रोटी भी नसीब नहीं।
बेटा रोहित बच्चों के साथ खेलकूद के समय अचानक गिर जाने से सिर पर ऐसी चोट लगी कि सिर पर खून जम गया और इन्हें पैदल ही बच्चे को भुंतर से कुल्लू इलाज करवाने के लिए कई बार लाना पड़ा। सर्जन डॉक्टर ना होने के कारण इन्हें शिमला रेफर किया गया। घर में दो वक्त की रोटी का कोई साधन नहीं तो इलाज के लिए शिमला कैसे जाएं।ऊपर से लॉकडाउन के कारण कोई भी गाड़ियां नहीं चल रही थी।
रोहित के सिर में खून जम जाने से उसका सिर काफी बड़ा दिखने लगा। संजना को कहीं भी कोई सहारा ना दिखा तो उसने कार सेवा दल संस्था से संपर्क किया। संस्था के अधिकारियों द्वारा सारी बात को गौर से सुनने और बेटे रोहित का इलाज प्राइवेट हॉस्पिटल में करवाने का निर्णय लिया। सभी टेस्ट और डॉक्टर द्वारा परामर्श के पश्चात रोहित को दाखिल किया गया और सिर की सर्जरी का खर्चा संस्था द्वारा उठाया गया ।
इलाज के दौरान प्राइवेट अस्पताल के डॉक्टरों ने भी काफी सहयोग किया। अब रोहित में काफी सुधार आ गया है। हर दूसरे दिन इसकी ड्रेसिंग की जाती है। डॉक्टरों द्वारा किए गए इलाज में सहयोग के लिए कार सेवा दल डॉक्टर का आभार प्रकट करती है और आगे भी उम्मीद करते हैं कि ऐसा कोई जरूरतमंद परिवार को मदद की जरूरत हो तो प्राइवेट अस्पतालों का भी सहयोग मिलता रहे। रोहित अब पूरी तरह ठीक है। मां संजना ने कार सेवा दल का धन्यवाद किया।